लड़कों के बीच में बाइसेप्स बनाने का जुनून काफी तेजी के साथ बढ़ रहा है।जिम में जहां भी नज़र डालो वहीं पर ढेर सारे लड़के वेटलिफ्टिंग करते नज़र आएंगे| मगर बाइसेप्स बनाना उतना आसान नहीं है जितना की आपको लगता है। अगर आपको बॉडी बनानी है तो सबसे पहले अपने शरीर के हिस्सों के बारे में जानना पडे़गा, जिससे आप ठीक से वर्कआउट कर सकें। बाजु बनाने हैं तो पहले जान लें कि बाइसेप्स और ट्राइसेप्स होते क्या हैं। हमारे बाजु दो हिस्से में बंटी हैं, ऊपर की बाइसेप्स और नीचे की ट्राइसेप्स होती हैं।अधिकतर लड़के जिम में गलत एक्सरसाइज़ करते हैं और 100 प्रतिशत रिजल्ट की कामना करते हैं। अगर आप बाइसेप्स बना रहे हैं तो इसे धीरे-धीरे और सही ढंग से करें ना कि तेजी-तेजी या गलत तरीके से। अगर आप अपनी बाइसेप्स बनाने के लिये जिम ज्वाइन करने वाले हैं तो अपने ट्रेनर से अपना शेड्यूल जरुर बनवा लें, जिससे उसे सही से फॉलो कर के आप अपने लक्षय तक पहुंच सकें। आइये जानते हैं कुछ ऐसी कसरतें जो आप जिम में अपनी बाइसेप्स बनाने के लिये कर सकते हैं।
बारबेल कर्ल: रॉड में वाजिब वेट लगाकर पैर खोलकर खड़े हो जाएं। हो सके तो ई जेड बार इस्तेमाल करें। वो नहीं है तो कोई भी चलेगी। वै बाइसेप्स की ताकत से वेट को ऊपर उठाएं और ऊपर आने के बाद एक सेकेंड के लिए रुकें फिर वेट को आराम से नीचे ले जाएं। वेट ऊपर आएगे तो सांस छोड़नी है नीचे जाएगा तो सांस भरनी है।वेट उठाते वक्त अपनी कुहनियों और बैक को बिल्कुल फिक्स रखें। चिन अप: इस कसरत से बैक और बाजुओं पर खासतौर पर असर पड़ता है। चिनअप में हाथ सामने की ओर और कम दूरी पर होते हैं। ज्यादा प्रेशर हाथों पर पड़ता है। पुल अप से हल्की होती है। पुल अप में हाथ दूर होते हैं।
इनक्लाइन डंबल कर्ल : तकरीबन 80 डिग्री पर इंक्लाइन बेंच को सेट करें और जितना वेट आप स्टेंडिंग डंबल कर्ल में लगा लेते हैं उससे एक दो किलो कम वेट के डंबल थाम लें| ध्यान रहे बेंच इस तरह से सेट हो कि आपके पैर पूरी तरह से जमीन पर टिके हों। कंधों और गर्दन को बेंच से टच करके रखें। फिर अपनी कुहनियों को टॉर्सो के पास ले जाएं और हाथों की हथेलियों को बारी बारी से तब तक घुमाए जब तक कि वे सामने ना आएं।सांस छोड़ते हुए डंबल उठाएं और सांस लेते हुए नीचे करें।
वन आर्म डंबल कर्ल: यह बाजुओं और कंधों में मजबूती पैदा करता है साथ ही बाजुओं का साइज भी बड़ा करता है। इसको करने के लिये एक हाथ में डंबल ले कर कुहनियां मोड़ते हुए उसे कंधो तक छुआएं और फिर धीरे से नीचे करें।वेट ऊपर आते वक्त सांस छोड़नी है और नीचे जाते वक्त सांस लेनी है।कभी भी डंबल आपकी बॉडी से ऊपर नहीं निकलना चाहिए। याद रखें जब भी आप मसल्स को एक सीमा से ज्यादा खींचेंगे या सिकोड़ेंगे तो आपकी ताकत कम हो जाएगी।